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18 जून को आईएमए का विरोध दिवसः डा. गर्ग

देशभर में कोरोना महामारी के शहीद चिकित्सकों को दी जायेगी श्रद्धांजलि, अस्पतालों में हिंसा को लेकर जताई नाराजगी

18 जून को आईएमए का विरोध दिवसः डा. गर्ग
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मुजफ्फरनगर। इंडियन मैडिकल एसोसिएशन के अध्यक्ष डा. एमएल गर्ग ने पे्रस वार्ता में जानकारी देते हुए बताया कि अखिल भारतीय स्तर पर योद्धओं की रक्षा करो आंदोलन के आह्वान के संदर्भ में जनपद मुजफ्फरनगर के समस्त चिकित्सक आगामी 18 जून को विरोध दिवस मनायेंगे और प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन देकर चिकित्सकों की सुरक्षा के प्रति मांग की जायेगी।

सरकुलर रोड स्थित आईएमए हाल में एसपी जैन आडिटोरियम में पत्रकारों से वार्ता करते हुए डा. एम.एल.गर्ग ने कहा कि कोरोना के दूसरे दौर में यद्यपि 40 डाक्टरों ने निःशुल्क सेवाएं दी फिर भी राष्ट्रीय स्तर पर हुई 724 डाक्टर कोरोना महामारी में शहीद हो गये। इससे पहले राउंड में भी अनेक चिकित्सक शहीद हो गये थे जिन्हे मिलाकर 1200 की संख्या हो गयी है। उन्होंने पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि चिकित्सक के पास आने वाला मरीज किसी से भी नहीं लड़ता अपितु उसके परिचित हंगामा करते है जिसके कारण अशांति फैलती है और पुरूष व स्त्री चिकित्सक इसका शिकार होते है। उन्होंने कहा कि पिछले दो सप्ताह के अंदर असम, बिहार, पश्चिम बंगाल, दिल्ली, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और कई अन्य जगहों पर डाक्टरों पर हिंसा की कई घटनाएं हो चुकी हैं. कई डाक्टरों की हड्डियां भी टूटीं और कई गंभीर रूप से घायल भी हुए हैं। महिला डाक्टरों के साथ भी गाली-गलौज और हिंसक घटनाएं हुई हैं। ऐसी घटनाओं की निंदा करते हुए कहा कि हम समाज से अपील करते है कि ऐसी घटनाएं दोबारा न हो।


वरिष्ठ फिजिशियन डाक्टर ईश्वर चन्द्रा ने पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि डाक्टर यद्यपि भगवान नहीं है फिर भी वह बीमार को ठीक करने की भरसक कोशिश करता है। उन्होंने लोगों से कहा कि हम चिकित्सकों को गलत न समझा जाये और हमारे ऊपर हमले न किये जाये। उन्होंने कहा कि हम अपने ज्ञापन में अस्पतालो ंको सुरक्षित जोन बनाने, हिंसक घटनाओं की जांच में आईपीसी की धाराएं लगाने संबंधित केसों को फास्ट ट्रेक कोर्ट में चलाने की मांग करते है। उन्होंने खुले मन से आईएमए पदाधिकारियों के सम्मुख स्वीकार किया कि कोरोना के दूसरे दौर में दो प्रतिशत डाक्टरों ने आपदा को अवसर में बदलते हुए धन कमाया जिसकी आईएमए निंदा करता है। यद्यपि 98 प्रतिशत चिकित्सक सेवा भाव से लोगों को समझाते रहे और उनका इलाज करते रहे।

उन्होंने शहर के एक प्रमुख मल्टी स्पेशलिटी हास्पिटल के बारे में पूछे गये सवालों के जवाब में कहा कि पिछले दिनों घटित अनेक प्रकरणों के लिए जांच कमैटी बैठी हुई है जिसके परिणाम जल्द ही सामने आयेंगे। उन्होंने यह भी बताया कि इस हास्पिटल के चिकित्सक आईएमए के सदस्य नहीं है और जो लोग इलाज कर रहे है उन्हे फिजिशियन की सपोर्ट नहीं है। उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने कोविड के दूसरे दौर में धन कमाने के लिए अनाप शनाप काम किये हंै जो मानवता से परे हैं और एक योग्य चिकित्सक को ऐसे कार्य शोभा नहीं देते।

18 जून को विरोध प्रदर्शन दिवस मनाने के दौरान जुबानी हिंसा के खिलाफ देशभर में विरोध प्रदर्शित करने के लिए डॉक्टर काला बिल्ला, काले झंडे, काले मास्क, काली रिबन, काली शर्ट पहनकर नाराजगी प्रकट करेंगे। यह विरोध प्रदर्शन कार्यस्थलों और आईएमए बिल्डिंग के प्रमुख केंद्रों और अस्पतालों में मनाया जाएगा. साथ ही विरोध प्रदर्शन के बाद सामूहिक रूप से प्रधानमंत्री को ज्ञापन भेजा जाएगा। प्रेस वार्ता में मुख्य रूप से डा. सचिन, डा. अनुज माहेश्वरी ने सभी का आभार व्यक्त किया। पत्रकार वार्ता में डा. सुनील, पूर्व अध्यक्ष डा. अशोक शर्मा सहित अन्य अनेक चिकित्सक मौजूद रहे।

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