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शिवसेना को झटकाः कंगना के खिलाफ कार्रवाई पर हाईकोर्ट की रोक

टीम बुलडोजर और हथौड़े लेकर पहुंची और उसने अतिक्रमण बताते हुए आॅफिस के अंदर जाकर तोड़फोड़ की बल्कि झज्जे और रेलिंग को भी बुलडोजर से गिरा दिया।

शिवसेना को झटकाः कंगना के खिलाफ कार्रवाई पर हाईकोर्ट की रोक
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मुंबई। बाॅलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत के बांद्रा स्थित आॅफिस पर बीएमसी की कार्रवाई पर बाॅम्बे हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। बुधवार सुबह बीएमसी की टीम ने कंगना के आॅफिस को तोड़ने की कार्रवाई शुरू की थी। टीम बुलडोजर और हथौड़े लेकर पहुंची और उसने अतिक्रमण बताते हुए आॅफिस के अंदर जाकर तोड़फोड़ की बल्कि झज्जे और रेलिंग को भी बुलडोजर से गिरा दिया। इस बीच कोर्ट ने इस कार्रवाई पर रोक लगा दी। इसे शिवसेना की कंगना के खिलाफ बदले की कार्रवाई के रूप में देखा जा रहा है।

सुशांत मामले में तीखी बयानबाजी के बाद आज शिवसेना की सरकार ने कंगना के कार्यालय पर बुलडोजर चलवाया तो मामला कोर्ट में पहुंच गया। इसके बाद मामले में वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग से कोर्ट की सुनवाइ के दौराना कंगना के वकील रिजवान सिद्दीकी कार में बैठकर वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग से कोर्ट के सामने दलील रखते हुए इसे गलत बताया और कहा कि बीएमसी जैसे जल्दबाजी में है। वकील ने कहा कि नोटिस मिलते ही तुरंत कार्रवाई का कौन सा और कैसा तरीका है।

कंगना रनौत के खिलाफ शिवसेना नीत उद्धव ठाकरे सरकार बदले की कार्रवाई में इस कदर अंधी हो चुकी है कि उसके लिए हाईकोर्ट के आदेश की भी कोई अहमियत नहीं है। पता चला है कि 15 जुलाई को मुंबई हाईकोर्ट ने कोरोना संक्रमण के मद्देनजर एक आदेश पारित किया था, जो 31 अगस्त तक था। इसमें साफ-साफ कहा गया था कि किसी भी किस्म का निर्माण ध्वस्त नहीं किया जा सकता है। 30 सितंबर तक इस आदेश को फिर बढ़ा दिया गया था। ऐसे में बुधवार को बांद्रा स्थित कंगना रानौत के आॅफिस को बीएमसी ने अवैध निर्माण के नाम पर ध्वस्त कर दिया। इसके चलते सरकार कोर्ट की अवमानना के मामले में भी फंस सकती है।

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