हमारा मजहब एक और हमारा दूसरा घर है पाकिस्तानः तालिबान

जबीहुल्लाह मुजाहिद ने कहा, कि अफगानिस्तान की सीमा पाकिस्तान से लगती है। जब धर्म की बात आती है तो हम परंपरागत रूप से करीबी हैं। दोनों ही देशों के लोग आपस में मिले-जुले हैं।

Update: 2021-08-26 08:46 GMT

काबुल। अफगानिस्तान में शरिया शासन लागू करने की तैयारी कर रहे तालिबान ने पाकिस्तान को अपना दूसरा घर बताया है और कहा है कि हमारी सीमाएं लगती हैं और मजहब एक है। इसलिए हम भविष्य में पाकिस्तान के साथ अच्छे संबंधों की उम्मीद कर रहे हैं।

तालिबान के प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने यह बात कही है। इससे पता चलता है कि पाकिस्तान दहशतगर्द संगठन तालिबान के कितना करीब है और वह किस तरह से उसके लड़ाकों को ठिकाना देता रहा है। जबीहुल्लाह मुजाहिद ने कहा, कि अफगानिस्तान की सीमा पाकिस्तान से लगती है। जब धर्म की बात आती है तो हम परंपरागत रूप से करीबी हैं। दोनों ही देशों के लोग आपस में मिले-जुले हैं। इसलिए हम पाकिस्तान से अच्छे संबंधों की उम्मीद रख रहे हैं। इसके अलावा तालिबान के प्रवक्ता ने भारत के साथ अच्छे संबंध रखने की भी उम्मीद जताई है। यही नहीं भारत और पाकिस्तान के रिश्तों को लेकर भी तालिबान ने अपनी राय जाहिर की है। तालिबान ने कहा कि भारत और पाकिस्तान को आपस में बैठकर अपने बीच के मुद्दों को हल करना चाहिए। मुजाहिद ने कहा कि तालिबान भारत समेत दुनिया के तमाम देशों से अच्छे संबंध चाहता है। पाकिस्तान के एक चैनल से बात करते हुए मुजाहिद ने कहा कि अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जा जमाने में पाक का कोई रोल नहीं रहा है। तालिबान ने कहा कि पाकिस्तान ने कभी भी अफगानिस्तान के मामलों में दखल नहीं दिया है।

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